बड़ा महत्व है खरमास में पूजा पाठ का खत्म हो जाती है नकारात्मकता..

बड़ा महत्व है खरमास में पूजा पाठ का खत्म हो जाती है नकारात्मकता..

नई दिल्ली: खरमास को धनु संक्रांति के नाम से भी जाना जाता है, क्योंकि इस दिन पर सूर्य देव बृहस्पति की राशि धनु में प्रवेश करते हैं। इस अवधि में कई तरह के नियमों का ध्यान रखा जाता है। साथ ही इस अवधि में सूर्य देव की पूजा-अर्चना करना काफी शुभ माना जाता है। ऐसे में चलिए जानते हैं कि साल 2025 में कब से शुभ कार्यों की शुरू किए जा सकेंगे।

इस दिन समाप्त होगा खरमास

रविवार, 15 दिसंबर 2024 से खरमास की शुरुआत हुई थी, जिसका समापन मंगलवार, 14 जनवरी यानी मकर संक्रांति के दिन होने जा रहा है। मकर संक्रांति वह दिन है, जब सूर्य मकर राशि में प्रवेश करता है। ऐसे में इस दिन के बाद से शुभ व मांगलिक कार्य किए जा सकेंगे।

कर सकेंगे ये काम

खरमास की समाप्ति के बाद धार्मिक व मांगलिक कार्य जैसे वैवाहिक कार्यक्रम, मुंडन संस्कार, गृह प्रवेश, जनेऊ संस्कार आदि किए जा सकेंगे। इसी के साथ खरमास की समाप्ति के बाद नया वाहन, घर या प्रॉपर्टी खरीदना या फिर नए काम की शुरुआत करना भी शुभ होता है।

खरमास में क्या करना चाहिए

खरमास में रोजाना सूर्य देव को जल जरूर अर्पित करना भी काफी लाभदायक माना जाता है। इसी के साथ खरमास में दान-पुण्य करना बहुत ही पुण्यकारी होता है। ऐसे में आप इस माह में गुड़, मूंगफली, गर्म कपड़े, कंबल आदि का दान कर लाभ प्राप्त कर सकते हैं।









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