मुखिया के मुखारी – सधवा ,विधवा, डीड़वा का है जलवा 

मुखिया के मुखारी – सधवा ,विधवा, डीड़वा का है जलवा 

26 अप्रैल 2025: बिना पवित्रता के कौन सा बंधन बंधा है निभा है,रिश्तों में नैतिकता की जगह जब कृपणता ले लेती है तो वों रिश्ते टूट ही जातें हैं । सरकार से मतदाताओं का रिश्ता  पांच साला होता है, पवित्रता नैतिकता की डोर जितनी मजबूत होगी सरकार उतनी प्रभाव शाली और कालजीवी होगी ,मतदाता शिद्दत से  मत दे सरकार को सत्ता वरण कराते हैं,सरकार के पास मौका होता है कि वों जनकल्याण कारी कार्य कर अपनी लोकप्रियता कायम रखे,बहुमत बनाए रखे,पांच साला परीक्षा के मूल्याकंन के मापदंड यही हैं ।सुयोग्य का ही वरण होता है,ख्याति और छवि बार -बार सत्ता दिलाती है ,सत्ता सरकार की सांसे हैं ,बिन सत्ता राजनीतिक दल जल बिन मछली की स्थिति में आ जाते हैं,छ .ग. की सरकार दावे तो सुशासन के हर सांसो में करती है ,पर प्रदूषित हो रही सांसे, फ़ैल रहा  संक्रमण  फिर भी अहसास से सरकारी इंकार है, पुरानी गाथाओं से बराबरी का इरादा है दावों से अलग काज हो रहे ,सुराज सुशासन के समनार्थी अर्थो के दीदार हो रहे, सरकार गई सरकार आई सरकार बदल गई पर प्रवृति नही बदली । फेहरिस्त भ्रष्टाचार की तब बड़ी थी या अब  बड़ी बनाई जाएगी निरीह जनता देखेगी ,दांव पे छत्तीसगढ़ का भविष्य है पर दांव इनके भ्रष्टाचार के रोज नए लग रहे । 

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गाँव शहर छत्तीसगढ़ के हर गढ़ में भ्रष्टाचार का शोर है, जोर सरकार का अपनों पे नही है, जिन वजहों से पुरानी सरकार रुखसत हुई ,उन सारी वजहों का वरण इस सरकार ने भी कर लिया, राजस्व में  मुआवजा, अवैध प्लाटिंग के रोज नित नए घोटाले हो रहे ,भूमि अधिग्रहण पर लगा भ्रष्टाचार का ग्रहण है । आबकारी के कारनामों की काली सूचि है, फिर भी अधिकारियों पे मेहर बरस रही, जनसंपर्क का जन से नही कोई सम्पर्क ,व्यापक संग भ्रष्टाचार में मग्न है ,कृषि ने बीज घोटाले हो रहे,बारी कीटनाशक रसायनों, कृषि यंत्रो की आनी है,शिक्षा स्तर सुधरा नही स्थानान्तरण  ,घपले घोटालों की बढ़त ही बढ़त है । अवैध खनन रेत के जारी है ,अवैध परिवहन खनिजों को अब भी भारी है ,वन में  वन बल प्रमुख ही अरण्यों से रण कर रहे इतिहास भ्रष्टाचार का भविष्य भी वही लिख रहे ,महिला बाल विकास में  विकास किसका हो रहा ?

PDS ,नान घोटाले की खाद भ्रष्टाचार वाली से फली फूली, खाद्य विभाग अभी भी उसी खाद का इस्तेमाल कर रही, दाग दाद हो गए पर सरकार को खुजली नही हो रही ,वों दाद अपनी अब भी दे रही,जिन जिलाधीशो ने DMF, राजस्व में घोटालों को अटल आय का साधन बना दिया वों आज भी चौड़े हुए अधिकारों से भरे बैठे हैं ,विभागों की सेहत बिगड़ रही पर स्वास्थ्य, बिगड़ा सबसे ज्यादा स्वास्थ्य का है, जब दवाइयों में ही भ्रष्टाचार है तो कहां भ्रष्टाचार की दवाई का सवाल है?  बढती है तो बढ़ जाये बीमारी भ्रष्टाचार ही सरकार का आधार है,चयन में धांधलियां कल कर जो आज IAS हो गए वों रूप ही नही गुणों के खान हो गये ,पतिव्रता धर्म निभा अपनी बेनामी कमाई से पति के लिए रिज़ॉर्ट बना PSC का भ्रष्टाचार वही से सेट कर दिया, महतारी वंदन की सरकारी मनी पद्म पुरुस्कारों जैसी हो गई, सौम्या की जगह पद्मनी ने ले ली, नारी सशक्त रहेगी तभी तो सरकार चलेगी फिर ये सरकार तो सुशासन वाली है ,उपसर्ग अति लगाएगी शासन से   कुशासन भ्रष्टाचार से अति भ्रष्टाचार का सफर तय करेगी ,पुलिस खुद जाँच के दायरे में है, कप्तानों की कप्तानी में ट्राफी नही ईनाम की भ्रष्टाचार वाली राशि करोड़ो में है, पुलिस, सट्टा ,सत्ता पूरक थे ,है ,रहेंगे ,जाँच की आंच धीमी है, रहेगी ,सरकार को टोकेगा अख़बार नही, वों तो घोटालेबाज को छत्तीसगढ़ का प्राइड बता रहा ,हमाम में नंगा हो खुद भी नाच रहा, सधवा (सरकार ) विधवा (विपक्ष ) डीड़वा (भ्रष्टाचारी अफसर) के बेमेल रिश्तों का मंडप सजा है ,डीड़वा ,सधवा विधवा दोनों को साध रहा है, सधो की सधी  बात भ्रष्टाचार ही सुशासन का आधार ,धार छत्तीसगढ़ की भोथरी हो रही क्योंकी ----------------------------------------------सधवा ,विधवा, डीड़वा का है जलवा 

चोखेलाल

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मुखिया के मुखारी व्यवस्था पर चोट करती चोखेलाल की टिप्पणी






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