अवैध घुसपैठियों की वापसी में रुकावट बन रही थी बांग्लादेश सेना, BSF ने कर दी फायरिंग

अवैध घुसपैठियों की वापसी में रुकावट बन रही थी बांग्लादेश सेना, BSF ने कर दी फायरिंग

भारत सरकार ने अवैध बांग्लादेशियों को वापस भेजने के लिए अभियान चलाया हुआ है. 4 मई से लेकर अब तक भारत ने 742 बांग्लादेशियों को वापस भेज दिया है. बांग्लादेश ने इसे ऑपरेशन धक्का कहा है.इसके तहत पहले अलग-अलग इलाकों से बांग्लादेशियों को सीमा पर लाया जाता है और फिर उसे बॉर्डर के जरिए धक्का दे दिया जाता है. 2016 में सरकार ने बताया था कि 2 करोड़ बांग्लादेशी घुसपैठ के जरिए आ चुके हैं.

इसी दौरान सोमवार को असम के मनकछार में ठकुरनबाड़ी अंतरराष्ट्रीय सीमा पर तनावपूर्ण स्थिति बन गई. स्थिति को नियंत्रित करने के लिए बीएसएफ ने शून्य पर गोलीबारी भी की. ये फायरिंग बांग्लादेशी सेना को नियंत्रित करने के लिए की गई, जो अवैध प्रवासियों वापस भेजने में बाधा बन रही थी. इस नई घटना से दोनों देशों के रिश्तों में दूरी और बढ़ सकती है, जो यूनुस सरकार के आने के बाद से नाजुक दौर से गुजर रहे हैं.

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क्यों की भारतीय सेना ने फायरिंग?

यह घटना उस समय घटी जब बांग्लादेशी नागरिक को धक्का दिया जा रहा था. भारत में अवैध रूप से प्रवेश करने वाले 14 बांग्लादेशी नागरिकों को बांग्लादेश सेना (बीजीबी) ने उस समय रोक लिया जब उन्हें मनकाचर अंतररार्ष्ट्रीय सीमा पार भेजा जा रहा था. बांग्लादेश सेना ने अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्र में प्रवेश किया और शुरू में भारतीय सेना (बीएसएफ) के साथ बहस की. जिसके बाद घटनास्थल पर सीमा सुरक्षा बल को मजबूरन गोलीबारी करनी पड़ी.

सीमा पर पहुंच अधिकारी

विवाद के बढ़ने के बाद दोनों देशों के उच्चस्तरीय अधिकारी सीमा पर पहुंच चुके हैं और बातचीत जारी है. बता दें, कल रात ग्वालपाड़ा स्थित मटिया हिरासत शिविर से चार बसें रवाना हुईं थी, जिनमें संदिग्ध बांग्लादेशी नागरिक होने का संदेह है.

बांग्लादेशियों की वापसी भारत और बांग्लादेश के रिश्तों में दरार पैदा कर रही है. जहां भारत इस इसको घुसपैठियों पर एक्शन के रूप में देख रहा हैं. वहीं बांग्लादेश और कई मानव अधिकारी संगठन इस कार्रवाई की निंदा कर रहे हैं.

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