महासमुंद : बीईओ प्रकाशचंद्र मांझी ने युक्तियुक्तकरण मामले में कई जानकारी छुपाई संयुक्त शिक्षक संघ के प्रांतीय सचिव रूपानंद पटेल ने सरायपाली ब्लॉक में युक्तियुक्तकरण के मामले में विकासखंड शिक्षा अधिकारी प्रकाशचंद्र मांझी के द्वारा शासन से प्राप्त निर्देशों का पालन न करने, मनमाने ढंग से पद का दुरुपयोग करने एवं उनके भेदभाव पूर्ण क्रियाकलापो को लेकर संचालक लोकशिक्षण संचनालय व संयुक्त संचालक रायपुर के समक्ष कई बिंदुओं पर शिकायत पत्र ज्ञापन प्रस्तुत किया गया है।
ये भी पढ़े : मुखिया के मुखारी - हम आपके हैं कौन बनते
अधिकारियों के समक्ष प्रस्तुत किए गए ज्ञापन में उल्लेख किया गया है कि युक्तियुक्तकरण के समय आदिवासी कन्या आश्रम छुईपाली का दर्ज संख्या 43 बताया गया था और वहां तीन शिक्षिकाएं कार्यरत हैं जबकि शासन के मापदंड के अनुसार 60 से कम दर्ज संख्या में दो ही शिक्षक कार्य कर सकते हैं।पर आदिवासी कन्या आश्रम में पदस्थ शिक्षिकाओं को अतिशेष नहीं निकाला गया और युक्तियुक्तकरण से मुक्त रखा गया।जो कई संदेह को पैदा करता है।
विकासखंड शिक्षा अधिकारी ने शालाओं के युक्तियुक्तकरण में भी भारी गोलमाल किया है शासकीय प्राथमिक शाला बालसी व उच्च प्राथमिक शाला बालसी दोनों का परिसर अलग अलग है इसी तरह से शासकीय प्राथमिक,उच्च प्राथमिक व हाई स्कूल पैकीन का परिसर अलग अलग होने के बावजूद एक परिसर बताकर नियमों के विपरीत इन स्कूलों को मर्ज किया गया है ।
प्रकाशचंद्र मांझी द्वारा अपने गृह ग्राम कोकड़ी (बारोडोली) के शासकीय प्राथमिक शाला जिसका दर्ज संख्या आठ था उसे गलत जानकारी देकर युक्तियुक्तकरण व मर्ज होने से बचा लिया। जबकि कोकड़ी के नजदीक शासकीय प्राथमिक शाला डुमरपाली की दूरी ठीक 1 किमी के भीतर है। फिर भी मर्ज का प्रस्ताव नहीं भेजकर अपने पद का दुरुपयोग किया है। जिसकी उचित जांच कर दोषियों के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही किए जाने की मांग की गई है।
ये भी पढ़े : शासकीय राशि गबन करने पर सोनहत के दो ग्राम पंचायत सचिव निलंबित
Comments