रायगढ़ : रायगढ़ जिले में आदिवासी सांसद राधेश्याम राठिया को अब तक सरकारी बंगला अलॉट नहीं हुआ है। सांसद बने उन्हें एक साल से ज्यादा हो गया है, लेकिन अब तक उनके लिए स्थायी निवास या कार्यालय की व्यवस्था नहीं हो पाई। इस मुद्दे को भारतीय जनता युवा मोर्चा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रवि भगत ने उठाया है।
रवि भगत ने अपने फेसबुक पोस्ट में लिखा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि रायगढ़ जैसे बड़े जिले में आदिवासी समाज से आए सांसद को आज तक बंगला तक नहीं मिला। उन्होंने कहा कि जनजाति समाज बहुत सहनशील है, लेकिन जब जवाब देता है तो उसकी गूंज दूर तक जाती है।
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यह पहला मौका नहीं है जब रवि भगत ने अपनी ही पार्टी और सरकार पर सवाल उठाए हैं। इससे पहले उन्होंने पोस्टर से सांसद का नाम गायब होने पर कड़ा ऐतराज जताया था।
इसके साथ ही डिस्टिक मिनरल फंड (DMF) की राशि के मुद्दे पर भी उन्होंने सरकार को घेरा था। उन्होंने गाना गाकर सोशल मीडिया में वीडियो पोस्ट किया था, जिसके बाद उन्हें नोटिस जारी किया गया और BJYM के प्रदेश अध्यक्ष पद से हटा दिया गया।
मीडिया से बातचीत में रवि भगत ने कहा कि सांसद से मिलने के लिए रायगढ़ में कोई स्थायी जगह नहीं है। पहले सीएम विष्णुदेव साय और गोमती साय (Gomti Sai) के समय में सांसद निवास मौजूद था, जहां जनता आसानी से अपनी समस्याएं लेकर पहुंच जाती थी। आज स्थिति यह है कि लोगों को सांसद के गांव तक जाना पड़ रहा है।
रवि भगत ने कहा कि प्रशासन को इस मामले में संवेदनशील होना चाहिए। रायगढ़ में लंबे समय से सांसद बंगले की परंपरा रही है। उन्होंने सवाल उठाया कि आखिर सांसद को अपनी जिम्मेदारियों को निभाने के लिए बुनियादी सुविधा क्यों नहीं दी जा रही है।
फिलहाल किसी पद पर नहीं हैं रवि भगत
भारतीय जनता पार्टी (BJP) में लंबे समय से सक्रिय रहे रवि भगत राष्ट्रीय मंत्री ABVP और BJYM में भी रह चुके हैं। मगर DMF फंड विवाद और सोशल मीडिया पोस्ट के बाद फिलहाल उन्हें किसी पद की जिम्मेदारी नहीं दी गई है। इसके बावजूद वह लगातार सोशल मीडिया पर अपनी बात रख रहे हैं और संगठन से जुड़े मुद्दों को उठाते रहते हैं।



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