बेमेतरा: छत्तीसगढ़ के बेमेतरा जिले के चर्चित बिरनपुर हिंसा मामले का आज से ट्रायल शुरू हुआ है। सीबीआई इस मामले में अपनी चार्जशीट दाखिल कर चुकी है। इस मामले में अब नया खुलासा हुआ है।बिरनपुर गांव में हुई हिंसा को लेकर सीबीआई ने अपनी रिपोर्ट में कई चौंकाने वाले दावे किए हैं। भुनेश्वर साहू की हत्या और साम्प्रदायिक हिंसा के मामले की सीबीआई ने जांच की है।
पुलिस अधिकारियों पर की गई थी पत्थरबाजी
सीबीआई की रिपोर्ट के अनुसार, हिंसा के दौरान भीड़ ने भुनेश्वर साहू पर जानलेवा हमला करने के बाद पुलिस अधिकारियों पर भी पत्थरबाजी की। हिंसा करने वालों का मकसद था कि पुलिस घटना स्थल तक नहीं पहुंचे। इसके लिए हिंसा वाले इलाके से पत्थरबाजी के लिए नारे लगाए गए थे। जिसके बाद पुलिस की टीम पर पथराव किया गया था।
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क्या है सीबीआई की रिपोर्ट में
CBI ने अपनी चार्जशीट में बताया है कि घटना की जानकारी मिलने के बाद साजा थाना के सब-इंस्पेक्टर बिनुराम ठाकुर अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने भीड़ से भुनेश्वर साहू को छुड़ाने की कोशिश की थी। इसी दौरान भीड़ में शामिल लोग जोर-जोर से चिल्लाने लगे थे कि पुलिसवाले आ गए हैं पत्थर मारा। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि भीड़ से आवाज आई- थी कि मुख्तार, अकबर, जनाब, जलील-पुलिसवाले को पत्थर मारो। पत्थरबाजी में कई पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।
मस्जिद के पास हुई थी भुवनेश्वर साहू की पिटाई
रिपोर्ट में दावा किया गया है कि भीड़ ने भुनेश्वर साहू को पकड़ लिया था और उसे मस्जिद के पास वाली गली में लेकर गए थे। इस दौरान उसकी बेरहमी से पिटाई की गई थी। पत्थर और ईंट से उसके सिर पर हमला किया गया था। मरा समझकर भीड़ उसे वहीं छोड़कर चली गई थी। इसके बाद उसके पिता मौके पर पहुंचे थे। भुनेश्वर साहू को गंभीर हालत में कम्युनिटी हेल्थ सेंटर साजा में भर्ती किया गया था जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था।
विधानसभा चुनाव में छाया था मुद्दा
बिरनपुर हिंसा का मामला छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के दौरान सुर्खियों में थे। बीजेपी ने साजा विधानसभा सीट से मृतक भुवनेश्वर साहू के पिता ईश्वर साहू को उम्मीदवार बना दिया था। ईश्वर साहू भारी मतों से अपना चुनाव जीते थे।



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