नहर मरम्मत के नाम पहले फर्जीवाड़ा, फिर दस्तावेज गायब : विभागीय अधिकारी ने ही कर दी पुलिस में शिकायत

नहर मरम्मत के नाम पहले फर्जीवाड़ा, फिर दस्तावेज गायब : विभागीय अधिकारी ने ही कर दी पुलिस में शिकायत

गरियाबंद:  जिले के जल संसाधन उप संभाग फिंगेश्वर में नहरों की मरम्मत के नाम गबन व भ्रष्टाचार की शिकायत उच्च अधिकारियों सहित पुलिस विभाग में भी की गई है। आपको बता दें कि डब्ल्यू.आर.डी.के ही एक कनिष्ठ अधिकारी तथा एक पूर्व कर्मचारी द्वारा अपने ही वरिष्ठ अधिकारी एस.के.बर्मन, कार्यपालन अभियंता जल संसाधन संभाग गरियाबंद, संतोष कुमार चंदेल अनुविभागीय अधिकारी जल संसाधन उप संभाग राजिम,विकास ध्रुव उप अभियंता कार्यालय एस.डी.ओ.डब्ल्यू.आर.डी.छुरा एवं एक लिपिक के विरुद्ध अनुशंसात्मक कार्यवाही और आपराधिक प्रकरण दर्ज करने की मांग की है।

दरअसल पूरा मामला नहरों की मरम्मत के नाम फर्जी भुगतान का है, जिसका खुलासा सूचना के अधिकार के माध्यम से हुआ है। प्राप्त जानकारी के अनुसार फिंगेश्वर वितरक शाखा नहर के टेल एरिया की 9 माईनर नहरों को 50 से अधिक स्थानों पर क्षतिग्रस्त बताया गया, इन नहरों से 10 के करीब गांवों, रोबा, भसेरा, पसौद, सिर्रिकला आदि को सिंचाई सुविधा मिलती रही है, विभागीय दावे के अनुसार 1600 मीटर से अधिक माप में मरम्मत कार्य किया गया, 4 हजार 600 सौ प्लास्टिक की बोरियों में रेत भरकर क्षतिग्रस्त स्थलों की मरम्मत की गई और इस कार्य के लिये, कोरबा के ठेकेदार विजय कुमार तथा एक अन्य फर्म इंडियन इंफ्रा बिल्ड को 4.46 लाख रु का भुगतान कर दिया गया, मजे की बात ये है कि ये कार्य वित्तीय वर्ष 2025 की समाप्ति के पूर्व फरवरी माह के अंतिम सप्ताह में कर दिया गया।

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इधर फिंगेश्वर के किसान यादराम जो पहले विभाग में कार्यरत रहे, उन्हें गोलमाल का अंदेशा हुआ, उन्होंने सूचना का अधिकार से जानकारी प्राप्त की और देखा कि मरम्मत के नाम केवल कागजी खानापूर्ति की गई है, उन्हें नहर में ना कहीं टूट फुट नजर आई ना ही मरम्मत के निशान ? जलसंसाधन विभाग पर किसानों का आरोप है कि एक करोड़ रुपये से अधिक का भुगतान फर्जी बिलो के माध्यम से किया गया है और दस्तावेज गायब कर दिये गये है।

गायब दस्तावेजों को लेकर अनुविभागीय अधिकारी जल संसाधन उप संभाग फिंगेश्वर व्ही व्ही मलैय्या द्वारा कलेक्टर गरियाबंद से पत्राचार किया गया है, उन्होंने 8 सितम्बर 2025 कलेक्टर को प्रेषित अपने कार्यालयीन पत्र में विभागीय ई.ई.एस.के.बर्मन पर दस्तावेज गायब कराने का आरोप लगाया है, उन्होंने स्पष्ट लिखा है कि शिकायत स्थान फिंगेश्वर वितरक शाखा CH 1380 से 1570 के मध्य एवं लघु नहरों की मरम्मत एवं रखरखाव से संबंधित दस्तावेज एस.के.बर्मन द्वारा गायब करवा दिये गये है, अब जांच समिति को निष्पक्ष जांच साथ ही प्रभावित किसानों को घटना स्थल के निरीक्षण के लिये दस्तावेजों की आवश्यकता है जिसे उपलब्ध कराया जाये।

29 सितम्बर 2025 को एक दूसरे पत्र में एसडीओ मलैय्या ने कलेक्टर से, संयुक्त जांच टीम का प्रतिवेदन और कार्यालय पुलिस अधीक्षक द्वारा प्रस्तुत शिकायती दस्तावेजों के साथ साथ शीघ्र कार्यवाही की मांग की है, समय सीमा में दस्तावेज उपलब्ध नही कराये जाने की सूरत में उन्होंने न्यायालय के शरण में जाने की चेतावनी भी दी है।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस मामले में जांच समिति की कार्यवाही जारी है, 03 अक्टूबर को कार्यपालन अभियंता जल संसाधन गरियाबंद, कार्यालय जल संसाधन उप संभाग फिंगेश्वर के एसडीओ, उप अभियंता तथा अमीन पटवारी की हाजिरी न्यायलय अपर कलेक्टर में तलब की गई थी।









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